मुख्तार अंसारी एंबुलेंस केस में SIT टीम पहुची मऊ, डा अलका राय से की पूछताछ

 


बाहुबली मुख्तार अंसारी के यूपी आने का काउंटडाउन शुरू है, लेकिन उससे पहले उसकी एंबुलेंस को लेकर बवाल तेजी से बढ़ रहा है। दरअसल मुख्तार को एक यूपी नंबर की एंबुलेंस से मोहाली कोर्ट में पेश किया गया था। अब यूपी पुलिस ने इस एंबुलेंस की जांच शुरू कर दी है। इस एंबुलेंस पर बाराबंकी का नंबर था। बाराबंकी पुलिस ने केस दर्ज करके पूरे मामले की जांच शुरू कर दी है। इसी एंबुलेंस की जांच के लिए एक स्पेशल इन्वेस्टिगेशन टीम का गठन किया गया और जांच के लिए मऊ पहुँच टीम ने जांच कर शुरू कर दी 


आपको बता दे कि बीते दिनों जब मुख्तार अंसारी को मोहाली कोर्ट में पेश किया गया था, तो सबकी निगाहें अचानक उस एम्बुलेंस पर जा टिकीं, जिससे मुख्तार अंसारी कोर्ट पहुंचा था। इस एंबुलेंस का नंबर चौंकाने वाला था। इस एंबुलेंस पर यूपी का नंबर था। जांच में ये पता चला कि नंबर बाराबंकी के एक अस्पताल का है। यह एंबुलेंस श्याम संजीवनी अस्पताल के नाम से रजिस्टर्ड है। एंबुलेंस की मालिक का नाम डा. अलका राय लिखा था। इस एंबुलेंस का साल 2013 में रजिस्ट्रेशन कराया गया था, जो 2015 में खत्म हो चुका था। वहीं इसकी फिटनेस भी साल 2017 में एक्सपायर हो चुकी थी। जांच के दौरान एंबुलेंस का रजिस्ट्रेशन कराने में जिन दस्तावेजों का प्रयोग किया गया वह सब फर्जी पाए गए।


एआरटीओ प्रशासन और एसडीएम की जांच में वोटर आईडी कार्ड बनाने से लेकर दर्ज पता फर्जी निकला। जिस पर एआरटीओ की तरफ से मऊ जिले के श्याम संजीवनी हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेंटर की डॉ. अलका राय और अन्य अज्ञात के खिलाफ धोखाधड़ी का केस नगर कोतवाली बाराबंकी में दर्ज कराया गया था। फर्जी वोटर कार्ड बनवाने से लेकर पंजीकरण कराने तक सरकारी अमले की क्या भूमिका रही है, इस पर भी पुलिस की नजर है। अलका राय मऊ की डॉक्टर है इस चौंकाने वाले खुलासे के बाद बाराबंकी में डा. अलका राय के खिलाफ नगर कोतवाली में मुकदमा दर्ज हुआ। इसमें IPC की धारा 420, 419, 467, 468 समेत कई धाराएं लगाई गई हैं। जिसके बाद बाराबंकी पुलिस ने जांच के लिए टीम गठित कर जांच शुरू कर दी है


वहीं बाराबंकी पुलिस जो जांच के लिए आई थी जांच करने के बाद इस मसले पर कैमरे पर बोलने से इंकार किया 

 वही डा अलका राय से पूछने पर अपने को निर्दोष बताया और कहा कि मुझे फंसाया गया है मेरी छवि धूमिल की जा रहीं हैं