जीवन रक्षा का सबसे उपयोगी अस्त्र है सीपीआर वर्ल्ड इमरजेंसी मेडिसिन डे पर आयोजित हुआ प्रशिक्षण व सम्मान कार्यक्रम




मऊः वर्ल्ड इमरजेंसी मेडिसिन डे पर मंगलवार को शारदा नारायण हास्पिटल में सीपीआर प्रशिक्षण एवं सम्मान कार्यक्रम आयोजित किया गया। सोसाइटी ऑफ इमरजेंसी मेडिसिन इंडिया के प्रदेश अध्यक्ष डॉ सुजीत सिंह ने सीपीआर प्रशिक्षिण देते हुए बताया कि घरेलू स्तर किसी को हार्ट अटैक सहित किसी आकस्मिक स्थिति में मरीज की जान बचाने के लिए सीपीआर सबसे महत्वपूर्ण अस्त्र होता है। घटना के तीन मिनट के अंदर मरीज के पल्स की जांच करने के बाद तत्काल सीपीआर करने से त्वरित आराम मिलता है। इसे एक मिनट में सौ बार से अधिक करना चाहिए। सीपीआर के दौरान मरीज की नाक दबाकर मुंह से हवा देना चाहिए। बताया कि इमरजेंसी का पहला घंटा मरीज के लिए सर्वाधिक महत्वपूर्ण होता है। प्रशिक्षण कार्यक्रम में डॉ सिंह ने डेमों के माध्यम से त्वरित जीवन रक्षा के विविध उपायों पर विस्तार से प्रकाश डाला। 
संस्थान निदेशक, प्रसिद्व चिकित्सक डॉ संजय सिंह ने बताया कि सोसाइटी ऑफ इमरजेंसी मेडिसिन के माध्यम से नगर, कस्बों व ग्रामीण क्षेत्रों के चिकित्सकों सहित आम जनमानस को आकस्मिक चिकित्सा के माध्यम से जानकारी प्रदान किया जाता है।शारदा नारायण हास्पिटल के इमरजेंसी विभाग द्वारा प्रतिवर्ष हजारों लोगों का जीवन बचाया जाता है। डॉ संजय सिंह ने कार्यक्रम में डॉ सुजीत सिंह को अंगवस्त्र व स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया। इस दौरान डॉ सतीश सिंह, डॉ नवीन श्रीवास्तव, डॉ गुलाम रसूल, राजीव कुमार, सुशील कुमार को उल्लेखनीय योगदान के लिए प्रशस्ति-पत्र प्रदान किया गया। कार्यक्रम को डॉ राहुल कुमार, डॉ सुदीप चौधरी, डॉ इना यादव, डॉ डीके पुष्कर ने संबोधित किया।