मऊ- एक वृक्ष सौ पुत्रों के समान होता है

आज विद्यापीठ पब्लिक स्कूल सरवां मऊ पर विश्व पर्यावरण दिवस के अवसर पर राष्ट्रीय बाल विज्ञान कांग्रेस के जिला समन्वयक ऋषिकेश पांडेय ने बताया कि पर्यावरण और जीवन का अटूट संबंध होता है। ग्लोबल वार्मिंग के कारण पर्यावरण की स्थिति दिन प्रतिदिन खराब होती जा रही है। पर्यावरण के प्रति जागरूकता लाने के लिए और उसके संरक्षण और संवर्धन के लिए वृक्षारोपण बहुत आवश्यक है । आज वैश्विक स्तर पर पर्यावरण को बचाने के लिए विभिन्न प्रकार के कार्यक्रम हो रहे हैं। हमारे जलवायु परिवर्तन के लिए भी वृक्ष बहुत ही महत्वपूर्ण कार्य करते हैं हमारे भारत जैसे कृषि प्रधान देश में बरसात पर ही खेती आश्रित होती है और बरसात के लिए वृक्षारोपण आवश्यक है। विद्यालय के प्रबंधक गोपाल तिवारी ने बताया कि एक वृक्ष सौ पुत्रों के समान होता है इसी की कड़ी में प्रतिवर्ष अपने विद्यालय में वृक्षारोपण का कार्यक्रम कराते रहते हैं जिससे विद्यालय में पढ़ने वालों के सभी छात्र छात्राएं स्वस्थ एवं निरोग हैं। पीपल एक ऐसा वृक्ष है जो 24 घंटे जीवनदायिनी ऑक्सीजन गैस देता रहता है। इस प्रकार से इसका आध्यात्मिक तर्क यह है कि पीपल के वृक्ष के पत्ते पत्ते पर देवता निवास करते हैं। आज के इस अवसर पर घनश्याम दुबे संजय कुमार दुबे जवाहरलाल दुबे विद्याधर तिवारी पद्मेश तिवारी सास्वत मिश्र मानस मिश्र सूर्यांश तिवारी कृष्णा तिवारी और बाल वैज्ञानिक विकास सिंह शिवम सिंह गोलू मौर्य रितेश तिवारी निरंजन कुमार एवं विद्यालय के सभी कर्मचारी उपस्थित रहे।